शब्द चर्चा में क्यों : हाल ही में कोरोनावायरस के चलते भारत में मास्क और हैंड सैनिटाइजर की कालाबाजारी हो रही है जिसके चलते 300 रुपए की MRP वाला मास्क 1200 रुपए तक बिक रहा है वहीं 40 से 50 रुपए में मिलने वाले हैंड सैनिटाइजर 100 से 200 रुपए में बिक रहे हैं। इसी कालाबाजारी के चलते सरकार ने मास्क और हैंड सैनिटाइजर को 30 जून 2020 तक आवश्यक वस्तु अधिनियम 1955 के अंतर्गत सूचिबद्ध कर दिया है। इसी घटनाक्रम के चलते कालाबाजारी जैसे शब्द चर्चा में आए हैं।
कालाबाजारी का अर्थ : किसी अकस्मात स्थिति के चलते वस्तु-विशेष की बढ़ी हुई माँग का लाभ उठाते हुए वस्तुओं को ऊँचे दामों पर बेच कर अनुचित लाभ कमाने की प्रक्रिया कालाबाजारी कहलाती है। कालाबाजारी अमूमन ऐसी स्थिति में की जाती है जब किसी वस्तु की आपूर्ति में कमी आ रही हो। जब कोई वस्तु बाजार में आसानी से नही मिलती तो खरीदने वाले उसके लिए अधिक दाम देने को तैयार हो जाते हैं जिसके चलते उस वस्तु विशेष की कीमत को अवसरवादी व्यापारियों द्वारा बढ़ा दिया जाता है। इस तरह किसी परिस्थिति का लाभ उठाते हुए वस्तुओं के मनमाने दाम वसूलने की प्रक्रिया कालाबाजारी कहलाती है। कालाबाजारी को काली अर्थव्यवस्था या समानांतर अर्थव्यवस्था भी कहा जाता है। सरकार कालाबाजारी से निपटने के लिए नियमों को कड़ा करती है तथा उन जगहों पर रेड करती हैं जहाँ उस वस्तु की बिक्री हो रही होती है ताकि यह पता लगाया जा सके कि उन वस्तुओं की कितनी कीमत वसूली जा रही है। इसके अलावा उस वस्तु विशेष के उत्पादकों से बात कर उत्पादन को बढ़ाने की कोशिश भी की जाती है ताकि आपूर्ति और माँग के बीच सामंजस्य बनाया जा सके।
कोई टिप्पणी नहीं:
टिप्पणी पोस्ट करें